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Sunday, September 21, 2025

Vijay, Versity, Views and Counterviews 92

 Renewed Passport? 

मस्त। पर ये क्या? अब ये कैसा अरन्तु-परन्तु रह गया?

पासपोर्ट ऑफिस वालों ने कुछ ऐसा बदल दिया, जिसके लिए आपने फॉर्म तक नहीं भरा। नए पासपोर्ट में पता बदल दिया। मेरे बिना अप्लाई किए। हैं ना मस्त लोग? मैं अपने सभी पहचान पत्रों में अपना Permanant address लिखती हूँ। यूनिवर्सिटी का नही। पासपोर्ट ऑफिस वालों ने यूनिवर्सिटी का पता लिख दिया, मेरे गाँव के पते को हटाकर। क्या कर लोगे? फिर से धक्के खाओ? 

फिर से पासपोर्ट ऑफिस फ़ोन किया तो जवाब मिला, पासपोर्ट में temporary पते से कोई खास फर्क नहीं पड़ता। ये आपको कहीं जाने से नहीं रोकने वाला।    

फिर बदला ही क्यों? वो भी धोखे से। मैंने तो बदलवाने के लिए अप्लाई ही नहीं किया था। छोटे-मोटे लोगों के साथ, ऐसी-ऐसी, छोटी-मोटी बातें होती रहती हैं, यहाँ वहाँ? यही? ज्यादा दिमाग पर ना लें?

या इससे आगे भी कुछ?

इससे आगे भी कुछ? उन्होंने इन सालों में दुनियाँ जहाँ के हथकंडे अपना नौकरी से तो चलता कर दिया, चाहे वो resignation मैंने अपनी मर्जी से दिया हो। मगर, अभी भी बहुत कुछ रह गया, जो नाम के इन जालों में उलझा पड़ा है। क्या है वो? NPS 100% एक बार में? या पेँशन? अरे 4 साल हो गए नौकरी छोड़े, और अभी तक ये हुआ नहीं? क्यों?

फिर से विजय दाँगी?

विजय कुमारी?

या विजय कुमारी दाँगी?

कितनी इमेल्स और कॉल्स? और क्यों? 

पासपोर्ट में जहाँ पता बिना अप्लाई किए बदला, तो NPS में ना सिर्फ नाम, बल्की, फ़ोन नंबर भी। वहाँ मेरे फ़ोन नंबर का एक आखिरी नंबर बदल दिया। तो आप वो अकॉउंट ही नहीं खोल पाएँगे। उससे आगे तो करेंगे ही क्या? नहीं तो आप अपना अकॉउंट खुद मैनेज कर सकते हैं। पहले मैं उसे खोल लेती थी। ये अभी 2-3 साल से हुआ है। शायद दो पार्टियों की आपसी लड़ाई? हालाँकि, यहाँ भी NPS पहचान पत्र (कार्ड) में नाम विजय दाँगी ही है। फिर भी ऐसा कैसे हो रहा है? जानने की कोशिश करते हैं आगे। कभी-कभी, बहुत कुछ मेरे भी सिर के ऊप्पर से जाता है। यहाँ-वहाँ पूछना पड़ता है। और बहुत कुछ तो खबरों और आसपास के बदलावों या किस्से कहानियों से थोड़ा बहुत समझ आता है।  

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